हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को शिवरात्रि कहते हैं, लेकिन फाल्गुन महीने में पड़ने वाली कृष्ण चतुर्दशी तिथि को महाशिवरात्रि कहा जाता है. महाशिवरात्रि इसलिए बेहद खास है क्योंकि कहा जाता है इस दिन भगवान शंकर और माता पार्वती का विवाह हुआ था. इस पावन पर्व पर लोग व्रत रहकर रात्रि में जागरण करके शिव की आराधना करते हैं.
महाशिवरात्रि को रात्रि जागरण इसलिए करना चाहिए क्योंकि ऐसा माना जाता है कि रात्रि के समय भगवान का ध्यान करने से व्यक्ति के अंदर की ऊर्जा का प्रवाह प्राकृतिक रूप से ऊपर की तरफ होने लगता है. इस तरह से व्यक्ति की आध्यात्मिक उन्नति के लिए प्रकृति खुद ही मदद करती है. यही कारण है कि महाशिवरात्रि की रात ज्यादातर लोग भजन-कीर्तन करते हैं, ताकि उनपर परमात्मा की कृपा बनी रहे. इस दिन शिव और पार्वती की भक्ति करने से जीवन के सभी कष्टों से छुटकारा मिलता है.