ज्योतिष में सेनापति की भूमिका रखने वाले मंगल ग्रह को साहस, ऊर्जा और उत्साह का कारक माना जाता है. कुंडली में मंगल की शुभ स्थिति व्यक्ति के जीवन में सकारात्मकता लाती है, वहीं मंगल अगर कमजोर स्थिति में है तो व्यक्ति को जीवन में संघर्ष झेलना पड़ता है.
वैसे तो कुंडली में लग्न समेत कुल 12 भाव होते हैं. सभी भावों का कोई ना कोई स्वामी ग्रह होता है. इन स्वामी ग्रहों के अनुसार व्यक्ति के जीवन का आंकलन किया जाता है. मंगल ग्रह को मेष और वृश्चिक राशियों का स्वामित्व प्राप्त है. ये मकर राशि में उच्च का, जबकि कर्क राशि में नीच का होता है. मेष राशि वालों की कुंडली में मंगल की मजबूत स्थिति उन्हें भूमि का मालिक बनाती है. इसके अलावा करियर की बात करें तो ऐेसे लोग ज्यादातर सेना और पुलिस के क्षेत्र में जाते हैं. वहीं वृश्चिक राशि वालों की बात करें तो इनकी कुंडली में मंगल मजबूत होने पर ऐसे व्यक्ति अपने शत्रुओं पर आसानी से विजय पा लेते हैं. ये लोग अपनी बातों को गुप्त रखना भी जानते हैं.