भादो शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि को पड़ने वाले महालक्ष्मी व्रत की शुरुआत हो गई है. माता लक्ष्मी को समर्पित इस पर्व की समाप्ति 16 दिन बाद अश्विन कृष्ण पक्ष की अष्टमी को होगी. कहते हैं इस व्रत को करने से धन की देवी मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं और व्यक्ति के जीवन में रुपए-पैसे की कोई कमी नहीं रहती.
पौराणिक कथा के अनुसार एक बार चौपड़ के खेल में पांडवों को कौरवों से हार का सामना करना पड़ा था. पांडव अपना सब कुछ हार गए थे. आर्थिक स्थिति खराब होने पर युधिष्ठिर ने श्रीकृष्ण से इसका उपाय पूछा तो उन्होंने महालक्ष्मी व्रत की सलाह दी. महालक्ष्मी की पूजा करने और व्रत करने से आर्थिक संकट दूर होता है और यश-कीर्ति में वृद्धि होती है. माता लक्ष्मी की कृपा से जीवन भर धन की कोई कमी नहीं रहती है. इस व्रत को करने से माता लक्ष्मी की विशेष कृपा बरसती है.